Trump-Zelensky Clash: अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोडिमिर जेलेंस्की के बीच ओवल ऑफिस में हुई तीखी नोकझोंक पूरी दुनिया ने देखी। ट्रंप ने जेलेंस्की पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि उनकी नीतियों से लाखों लोगों की जान खतरे में पड़ी और इससे तीसरे विश्व युद्ध की संभावना बढ़ गई। इस तनावपूर्ण बैठक के बाद जेलेंस्की अमेरिका के साथ महत्वपूर्ण खनिज समझौते पर हस्ताक्षर किए बिना ही लौट गए।
यूक्रेन नहीं करेगा युद्धविराम
जेलेंस्की ने स्पष्ट किया कि उनका देश रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के साथ युद्धविराम नहीं करेगा। उन्होंने कहा, “राष्ट्रपति ट्रंप का समर्थन हमारे लिए अहम है। वह युद्ध खत्म करना चाहते हैं, लेकिन हमसे ज्यादा कोई शांति नहीं चाहता। यह हमारे अस्तित्व और आजादी की लड़ाई है।”
जेलेंस्की ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘एक्स’ पर पोस्ट कर कहा, “जैसा कि राष्ट्रपति रीगन ने कहा था, शांति केवल युद्ध की अनुपस्थिति नहीं है, यह स्वतंत्रता, न्याय और मानवाधिकारों की रक्षा से जुड़ी है। पुतिन ने पिछले दस वर्षों में 25बार युद्धविराम तोड़ा है, इसलिए वास्तविक और स्थायी शांति ही एकमात्र समाधान है।”
सुरक्षा गारंटी के बिना शांति संभव नहीं
यूक्रेनी राष्ट्रपति ने कहा कि उनकी रणनीति में कोई बदलाव नहीं होगा क्योंकि रूस उनका दुश्मन है। उन्होंने कहा, “रूस हमें मार रहा है और यही सच्चाई है जिसका हम सामना कर रहे हैं। हम शांति चाहते हैं, लेकिन यह न्यायसंगत और स्थायी होनी चाहिए। इसके लिए हमें मजबूत सेना और मज़बूत सहयोगियों की जरूरत है। जब तक हमारी सुरक्षा की गारंटी नहीं होगी, तब तक शांति संभव नहीं।”
रूसी सेना पर गंभीर आरोप
जेलेंस्की ने रूस पर निर्दोष नागरिकों की हत्या का आरोप लगाया। उन्होंने कहा, “अमेरिका का समर्थन जरूरी है, लेकिन हम अपनी आजादी और संप्रभुता से समझौता नहीं करेंगे। हमने देखा कि रूसी सेना हमारे घरों में घुसी और निर्दोष लोगों की हत्या कर दी। यदि हमें नाटो में स्वीकार नहीं किया जा सकता, तो अमेरिका से सुरक्षा गारंटी की जरूरत होगी।”